पर्वतारोही और शायर गौतम राजभर को जो जोश टॉक ने किया आमंत्रित
1 min readपर्वतारोही और शायर गौतम राजभर को जो जोश टॉक ने किया आमंत्रित
अम्बेडकरनगर। पर्वतारोही और शायर गौतम राजभर के संघर्ष की जीवनी वाकई दिल दहला देने वाली है, उनके जीवन से प्रेरित होकर तेलुगू और हिंदी फिल्म निर्माता तथा एक्टर आदित्य ओम ने गौतम राजभर के जीवन पर फिल्म बनाने का आश्वासन दे डाल।
इस धरती की सबसे ऊंची चोटी माउंट एवरेस्ट को फतेह करने का इरादा रखने वाले राष्ट्रीय पर्वतारोही और शायर गौतम राजभर को जोश टॉक ने दिल्ली में आमंत्रित किया जहां पर उन्होंने अपने जीवन के संघर्ष को प्रस्तुत किया । जोश टॉक भारत के उन तमाम लोगों को आमंत्रित करता है जिन्होंने अपने फील्ड में अलग मुकाम हासिल किया और संघर्ष को अपना हथियार बनाया, जो स्टॉप पर प्रेरित कहानियों को प्रस्तुत किया जाता है । तमाम आईएएस, पीसीएस, गीतकार, शायर, लेखक, हीरोइन, हीरो, फिल्म स्टार, यूट्यूबर, ब्लॉगर, रेडियो जॉकी, अधिकारी, आदि बड़े नामचीन लोगों को आमंत्रित किया जाता है हमारे जिले से पर्वतारोही और शायर गौतम राजभर को आमंत्रित किया जाना वाकई जिले के लिए गौरव की बात है । जिले के बसखारी खंड क्षेत्र बसहिया निवासी गौतम राजभर पुत्र राजित राम राजभर के जीवन का संघर्ष और लेखन दोनों अव्वल दर्जे का है । बचपन से ही अभावों की जिंदगी, मां के संघर्षों को देखा है, गौतम राजभर शुरू से ही प्रतिभावान थे । देव इंद्रावती पीजी कॉलेज टॉप करने पर उन्हें देव इंद्रावती भूषण सम्मान से भी सम्मानित किया जा चुका है ।
तमाम राष्ट्रीय मुशायरों एवं ओपन माइक पर अपनी शायरी और कविताओं से लोगों को प्रभावित करने वाले गौतम राजभर को बिहार से तमाम भोजपुरी म्यूजिक कंपनियों ने अप्रोच किया गाने लिखने के लिए किंतु म्यूजिक कंपनियों ने फुहर और नॉनवेज गाने के लिखने की डिमांड की जो वर्तमान समाज ऐसे गाने खूब चल रहे हैं, किंतु गौतम राजभर ने बहन-बेटियों, महिलाओं को केंद्र में रखकर ऐसे अभद्र टिप्पणियां और गाने लिखने से मना कर दिया, चंद पैसों और शोहरत के लिए कोई भी यह कर सकता था किंतु मां के द्वारा सिखाए गए संस्कार ने गौतम राजभर को और मजबूत किया । गौतम राजभर ने कहा लिखने के लिए तमाम टॉपिक है मां सीता का त्याग लिखा जाएगा, रानी लक्ष्मीबाई की शौर्य लिखेंगे, भारत की बेटी कल्पना की उड़ान लिखेंगे, किंतु महिलाओं के किसी भी अंग या सौंदर्य आदि का गाने के माध्यम गलत वर्णन नहीं करेंगे । पर्वतारोही और शायर गौतम राजभर अब तक 54000 शायरियां और 6200 गीत, ग़ज़ल, कविताएं लिखा है, जिसकी वजह से उन्हें इंडिया बुक ऑफ रिकॉर्ड और एशिया बुक ऑफ रिकॉर्ड का ईमेल आया कि पूरे इंडिया और एशिया में सबसे ज्यादा शायरी लिखने का रिकॉर्ड पर्वतारोही गौतम राजभर के नाम दर्ज हो, जो हमारे जिले के लिए गौरव की बात होती किंतु माउंट एवरेस्ट का सपना टूटने के बाद उन्होंने इस अवार्ड को लेने से मना कर दिया जिससे पता लगता है कि उन्हें कितना आघात पहुंचा होगा जब उन्होंने सारे ट्रेनिंग कंप्लीट करके सिर्फ पैसे की वजह से उनका सपना उनसे दूर हो गया । पर्वतारोही गौतम राजभर के हौसलों को देखकर गांव वालों ने धान, चावल, गेहूं, पैसे चंदे इकट्ठा करना शुरू कर दिया था, किंतु रकम इतनी बड़ी थी यह सिर्फ गांव के ही चंदे से पूरा नहीं होता । समाज और क्षेत्र के तमाम नेताओं ने आश्वासन भी दिया कि मदद होनी चाहिए किंतु बड़ी रकम को सुनते ही सब लोग धीरे-धीरे मुकरते चले गए और पीछे हटते चले गए ।
आपको बताते चलें पर्वतारोही गौतम राजभर बेसिक माउंटेनियरिंग कोर्स जवाहर इंस्टीट्यूट आफ माउंटेनियरिंग पहलगाम जम्मू कश्मीर से ट्रेनिंग ली जहां पर उन्होंने अपने पर्वतारोही होने का दावा पेश किया और उन्हें इंस्टिट्यूट में टॉप टेन गुड क्लाइंबर में पांचवा स्थान हासिल किया तथा उन्हें कंसोलेशन प्राइज से सम्मानित किया गया, advance mountaineering course के लिए हिमालयन माउंटेनियरिंग इंस्टिट्यूट दार्जिलिंग पश्चिम बंगाल से ट्रेनिंग लिया जिसमें उन्होंने टॉप टेन गुड क्लाइंब में छठवां रैंक हासिल कर जिले का नाम रोशन किया था, इसके बाद नेहरू इंस्टीट्यूट आफ माउंटेनियरिंग उत्तरकाशी उत्तराखंड में उन्होंने MOI कोर्स किया।
केंद्रीय खेल मंत्रालय, राज्य खेल मंत्रालय, मुख्यमंत्री, प्रधानमंत्री, और अनेक कंपनियों आदि सभी जगह प्रायोजक के लिए गुहार लगाई । जब किसी ने पर्वतारोही गौतम राजभर की पुकार नहीं सुनी तो उन्होंने अपने सपने को पूरा करने के लिए उन्होंने दुबई में काम किया वहां से पैसे इकट्ठा करके घर वापस आए और फिर और पैसे इकट्ठा करने के लिए वह सऊदी गए जहां फस जाने के बाद सारी चीजें दूर होती चली गई क्योंकि वहां पर गौतम राजभर को 4 दिन तक अंदर बंद कर दिया गया था और खाना पानी नहीं दिया गया जिसकी वजह से उनका मेंटल और फिजिकल दोनों बहुत वीक हो गया । इंडिया वापस आए तो यहां लॉकडॉन का पहाड़ टूट पड़ा
पर्वतारोही और शायर गौतम राजभर अब तक तुल्यान लेक 13000F jk, डोकरानी वामक ग्लेशियर3800M uk
Dk1 5710m
Dk2 5670m
राथोंग ग्लेशियर 6678m सिक्किम
काबरू डोम 6585m सिक्किम जो माउंट एवरेस्ट प्री एक्सपीडिशन है उसको भी उन्होंने क्वालीफाई किया हुआ है इसके आलवा भी अन्य छोटी 2 की चढ़ाई की है ।
पर्वतारोही गौतम राजभर अपना सारा श्रेय अपने मां को देते हैं और अपने मां को ही संघर्ष और जुनून का प्रेरेणाश्रोत मानते हैं
एक गरीब परिवार के बेटे नहीं हमारे जिले और प्रदेश का नाम राष्ट्रीय स्तर पर और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर रोशन किया !