घृणा हिंसा असत्य व अन्याय से दूर रहने का संदेश देता है कर्बला : मोहम्मद असगर शारिब
1 min readघृणा हिंसा असत्य व अन्याय से दूर रहने का संदेश देता है कर्बला : मोहम्मद असगर शारिब

अंबेडकरनगर। मोहल्ला मीरानपुर स्थित बड़ा इमामबाड़ा राजा साहब परिसर शुक्रवार को दिनभर लब्बैक या हुसैन और हुसैनियत जिंदाबाद के गगनभेदी नारों से गूंजता रहा। अवसर था यासिर हुसैन आदि की देखरेख तथा अंजुमन गुंचै अकबरिया के तत्वावधान में आयोजित कदीम अजादारी कार्यक्रम का आगाज काशिफ फैजाबादी ने अपने कलाम से किया। मौलाना मोहम्मद असगर शारिब ने अपने संबोधन में करबला न केवल हक का सीधा रास्ता है अपितु समाज में प्रेम, सद्भाव, समता, अहिंसा एवं भाईचारा का मानवीय संचार करने और घृणा, हिंसा, असत्य, अन्याय और शोषण के विकार से मुक्त होने का संदेश प्रसारित करता है। मौलाना मोहम्मद अब्बास रिजवी ने भी संबोधित किया।
जर्रार अकबरपुरी व जैबी अकबरपुरी के संचालन में अंजुमन मजलूमिया जौनपुर ने नौहा पढ़ा रो-रो के सकीना ने ये कहा है बाबा हमारा कोई नहीं। अंजुमन अजाए हुसैन जलालपुर ने कहा मेरे भैय्या तुम्हें भी कफन न मिला। उत्तराखंड राज्य की अंजुमन गमख्वारे हुसैनी ने नौहा पेश किया जब मुझे आप के कातिल है मारा बाबा। अंजुमन हुसैनिया लोरपुर के नैय्यर खान, नजम अब्बास, जैन, शावेज, नसीम, अराज, हैदर अब्बास, शजर आदि ने शायर फरहान बनारसी का कलाम प्रस्तुत किया दर्दोगम भैय्या से अपना न छुपाओ ख्वाहर, कैफियत क्या है मुझे अपनी बताओ ख्वाहर। जबकि मेजबान अंजुमन गुंचै अकबरिया के असरार, जौन, काजिम, रजी, अर्तजा, फरहान, अदनान, अमानत, कुमैल तथा अली नवाज ने युवा शायर रेहान अकबरपुरी का कलाम मातम है सैय्यदा के दुलारे हुसैन का पढ़कर उपस्थित लोगों को आकर्षित किया। संस्था के सचिव यासिर हुसैन के नेतृत्व में कमर अब्बास अज्मी, रेहान अब्बास, वसी रजा, शुजाअत अब्बास, समीर अब्बास, सईद रजा जियो, राशिद जफर, असद अब्बास, कायम अली इत्यादि ने अतिथियों की भरपूर आवभगत किया।